■टेट याचियों की आइए और शिक्षामित्र■
✍इक साथी ने किसी टेट याची की पोस्ट डाली जिस में वो अपनी नियुक्ति न होने को मौलिक अधिकार बता रहा था। बात तो ठीक भी है लेकिन ये मौलिक अधिकार वरीयता क्रम में आखरी है।
पहला शिक्षामित्रों का फिर बीटीसी का। यहाँ बीएड का नाम लिखना धृष्टता होगी। जो हम नहीं करेंगे।
क्योकि
पैरा 9 B
qualifying the TET would not confer a right on any person for recruitment/employment as it is only one of the eligibility criteria for appointment.
✍अब बात करते हैं वकन्सिज़ की खाली पदों की।
जिन पर टेट याचियों द्वारा लगातार आइए डाली गई।
हमने इन आइए का अध्ययन करने पर पाया।
there are more that 4.86 lacs vacant posts in class I to V. The true typed copy of decision of state Assembly dated 14.02.2014
साफ़ है इनलोगो ने अपनी आइए में 14 फरवरी के शिक्षामित्रों के समायोजन के कैबिनेट डिसीजन को आधार बनाया है।
✍ये भूल कर की 170000 पोस्ट को राज्य सरकार रिजर्व कर चुकी थी और 2011 से 2016 तक लगातार इन पदों पर केंद्र द्वारा मानदेय और वेतन की संस्तुति होती रही है।
●इन्हें ये भी नहीं पता कि ये सभी पद केंद्र सरकार के लिये एसएसए कैडर में रखे गए थे और ये राज्य के कैडर की रिक्तियां नहीं थी।
अब बात करते हैं इन सब "आइए" में याचियों ने शिक्षामित्रों को हटाने के लिए किस बिंदु को आधार बनाया है? There was also a challenge to a further Government Order dated 19.06.2014 implementing the decision of the State Government to absorb Shiksha Mitras into regular service.
कहने का अर्थ ये कि 16 क को आधार बना कर बार बार हमला किया जा रहा है।
और हमारे संघ और टीम के लोग इस अपेंडिक्स के ऑपरेशन पर खामोश हैं।
यही कारण है कि हम अपने दर्द की दवा खुद करने चल पड़े...
✍रबी बहार**&केसी सोनकर और साथी*।।
Thursday, June 23, 2016
टेट याचियों की आइए और शिक्षामित्र
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4 comments:
बहार जी 72825 तो ऐसा समस्याओ का पिटारा है जिसका समाधान इसका रद्द ही होकर हो सकता है
Photo kaise lgegi
।बेहतरीन विश्लेषण बहार जी, सरकार के द्वारा किये गये16क संशोधन के बचाव के लिए आपकी रणनीति क्या है क्यों कि ये ही समायोजन का आधार है।
16 क को बिना भी काम चलेगा
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